हिंदी साहित्य का एक कालजयी उपन्यास है "चित्रलेखा"। इसके रचयिता श्री भगवतीचरण वर्मा की आज 112 वीं जयन्ती है ।
भगवती बाबू ने यह उपन्यास 1934 में लिखा था जिसके छ वर्ष बाद 1940 में पहली बार इस पर आधारित फिल्म "चित्रलेखा" बनाई गयी ।
दुसरी बाद इस उपन्यास पर आधारित फिल्म 1964 में पुनः बनी और सुपर हिट रही...
इस फिल्म से कमाए हुए पैसे से ठीक छ वर्ष बाद 1970 में भगवतीचरण वर्मा ने महानगर लखनऊ में मकान बनाना आरम्भ किया और घर का नाम रखा "चित्रलेखा"।
100 से अधिक संस्करण वाला उपन्यास "चित्रलेखा" आज 81 वर्ष का हो गया है तथा महानगर की यह "चित्रलेखा" 45 वर्ष की हो गयी है जिसमें आज उनके छोटे पुत्र साहित्यकार श्री धीरेन्द्र वर्मा निवास करते हैं।
बीती रात यह महानगर "चित्रलेखा" ऐसी दीख रही थी ... उधर से गुजरा तो यह द्रश्य और श्रीयुत धीरेन्द्र वर्मा जी के साथ खिंची यह सेल्फी आपके लिए खीच लाया ....
![](https://scontent-mrs1-1.xx.fbcdn.net/hphotos-xpt1/v/t1.0-9/11924271_665262083609442_2704645660795150345_n.jpg?oh=1efd1d6cfdbe85a39c2b88ad3b658a21&oe=566AECE3)
![](https://fbcdn-sphotos-e-a.akamaihd.net/hphotos-ak-xfa1/v/t1.0-9/11947509_1025211160842987_2399268043301667119_n.jpg?oh=8075ab8b94764f621b3c36a9411f6ed4&oe=56843C61&__gda__=1451420394_87450ebc39efb1bb7c22426a9d8ce360)
100 से अधिक संस्करण वाला उपन्यास "चित्रलेखा" आज 81 वर्ष का हो गया है तथा महानगर की यह "चित्रलेखा" 45 वर्ष की हो गयी है जिसमें आज उनके छोटे पुत्र साहित्यकार श्री धीरेन्द्र वर्मा निवास करते हैं।
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